नादान है वो जो कहते हैं दिल के टूटने की आवाज नहीं होती
पूछो तुम आशिक के दिल से, जिसे डर है महबूब की रुसवाई का
दिल के टूटने की आवाज मे जो है वो खनक
वो बस महबूब के सीने मे दफन एक राज होती है
पूछो तुम आशिक के दिल से, जिसे डर है महबूब की रुसवाई का
दिल के टूटने की आवाज मे जो है वो खनक
वो बस महबूब के सीने मे दफन एक राज होती है
4 comments:
सच कहा कुन्दन
दोनों शेर लाजवाब हैं!
दिल के टूटने की आवाज मे जो है वो खनक
वो बस महबूब के सीने मे दफन एक राज होती है
वाह बहुत खूब ..
bahut khoob umdaa sher.
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